मेरा एक हिस्सा तुझसे बिछडऩे के गम में सिसकता रहा लेकिन
दूजा तुझे सामने देखकर मुस्काता रहा....
तुझको खो देने का गम मुझे पागल करता रहा पर
तेरी मुस्कराहट देख सारा दर्द जाता रहा....
तेरी जुदाई के एक-एक पल में मौत मांगी मैंने
और तेरी एक झलक की खातिर मैं सांस लेता रहा...
मैं खत्म और खोखला हो गया था फिर भी
तेरे मांगने पर अपना आखिरी कतरा तक देता रहा...
मुझे मालूम था कि तू आगे बढ़ जाएगा छोड़कर मुझे
फिर भी तेरे कहने पर मैं शब भर जागता रहा...
तू मिराज था, तुझे तो धोखा देना ही था पर
मैं ये जानते हुए भी तेरे पीछे बेतहाशा भागता रहा...
अब खत्म सा हूं लेकिन थोड़ा नामो-निशां बाकी है मेरा
मुझे मालूम है के ये भी लुटा दूंगा तुझपर...
ये तय था कि तेरी खामोश अदा, बोलती आंखें
एक दिन मेरी जान यूं ही लेंगी दिलबर...
दूजा तुझे सामने देखकर मुस्काता रहा....
तुझको खो देने का गम मुझे पागल करता रहा पर
तेरी मुस्कराहट देख सारा दर्द जाता रहा....
तेरी जुदाई के एक-एक पल में मौत मांगी मैंने
और तेरी एक झलक की खातिर मैं सांस लेता रहा...
मैं खत्म और खोखला हो गया था फिर भी
तेरे मांगने पर अपना आखिरी कतरा तक देता रहा...
मुझे मालूम था कि तू आगे बढ़ जाएगा छोड़कर मुझे
फिर भी तेरे कहने पर मैं शब भर जागता रहा...
तू मिराज था, तुझे तो धोखा देना ही था पर
मैं ये जानते हुए भी तेरे पीछे बेतहाशा भागता रहा...
अब खत्म सा हूं लेकिन थोड़ा नामो-निशां बाकी है मेरा
मुझे मालूम है के ये भी लुटा दूंगा तुझपर...
ये तय था कि तेरी खामोश अदा, बोलती आंखें
एक दिन मेरी जान यूं ही लेंगी दिलबर...
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